21. सम्पर्क विधि में गंधकाम्ल (H₂SO₄) के निर्माण में प्रयुक्त उत्प्रेरक है -
- D. CO + Ni
- B. Fe + Mo
- C. V₂ O₅
- A. Pb
व्याख्या: सल्फ्यूरिक एसिड के निर्माण की संपर्क प्रक्रिया में, सल्फर डाइऑक्साइड (SO₂) को सल्फर ट्राइऑक्साइड (SO₃) में ऑक्सीकृत करने के लिए वेनेडियम पेंटोक्साइड (V₂O₅) का उपयोग उत्प्रेरक के रूप में किया जाता है।
22. उत्प्रेरक की खोज किसने की थी
- A. बर्जिलियस
- C. लुईस
- B. रदरफोर्ड
- D. कोसेल
व्याख्या: उत्प्रेरण की अवधारणा का पहली बार वर्णन रसायनज्ञ जॉन्स जैकब बर्जिलियस ने 1835 में किया था।
23. सल्फ्यूरिक अम्ल बनाने की सम्पर्क विधि में उत्प्रेरक के रूप में प्रयुक्त होता है
- B. प्लेटिनम चूर्ण
- D. निकल धातु
- A. लोहे का चूर्ण
- C. नाइट्रोजन के ऑक्साइड
व्याख्या: संपर्क प्रक्रिया में या तो वेनेडियम पेंटोक्साइड (V₂O₅) या प्लैटिनम का उपयोग उत्प्रेरक के रूप में किया जाता है। दिए गए विकल्पों में, प्लैटिनम चूर्ण सही है।
24. जब अभिकारक और उत्प्रेरक दोनों की भौतिक अवस्थाएं भिन्न होती है तो उत्प्रेरक कहलाता है
- D. उत्प्रेरक विष
- B. विषमांग उत्प्रेरक
- C. प्रेरित उत्प्रेरिक
- A. समांग उप्रेरक
व्याख्या: विषमांग उत्प्रेरण में, अभिकारक और उत्प्रेरक अलग-अलग अवस्थाओं में होते हैं, जैसे हैबर प्रक्रिया में गैसीय अभिकारक और ठोस उत्प्रेरक।
25. किस प्रक्रम में वेनेडियम पेंटाऑक्साइड को एक उत्प्रेरक के रूप में प्रयोग किया जाता है
- D. सीस कक्ष प्रक्रम
- A. संस्पर्श प्रक्रम
- B. हैबर प्रक्रम
- C. साल्वे प्रक्रम
व्याख्या: संस्पर्श (संपर्क) प्रक्रम सल्फ्यूरिक एसिड के उत्पादन की एक विधि है, जिसमें वेनेडियम पेंटोक्साइड (V₂O₅) एक महत्वपूर्ण उत्प्रेरक है।
26. कौन सा एंजाइम ग्लूकोज को एल्कोहल में परिवर्तित करता है
- A. जायमस
- B. इवेंट्स
- D. डायस्टेट
- C. माल्टेस`
व्याख्या: जाइमेस एंजाइमों का एक सम्मिश्रण है जो यीस्ट (खमीर) द्वारा स्रावित होता है और यह किण्वन प्रक्रिया के दौरान ग्लूकोज को इथेनॉल (एल्कोहल) और कार्बन डाइऑक्साइड में परिवर्तित करता है।
27. तेलों के हाइड्रोजनीकरण में प्रयुक्त उत्प्रेरक है
व्याख्या: वनस्पति तेलों के हाइड्रोजनीकरण से वनस्पति घी (मार्जरीन) बनाने के लिए आमतौर पर निकल (Ni) का उपयोग उत्प्रेरक के रूप में किया जाता है।
28. जैविक उत्प्रेरक है
- D. एंजाइम
- B. ग्लूकोज
- C. नाइट्रोजन का अणु
- A. एमिनो अम्ल
व्याख्या: एंजाइम प्रोटीन होते हैं जो जीवित जीवों में जैव रासायनिक अभिक्रियाओं के लिए उत्प्रेरक के रूप में कार्य करते हैं।
29. वर्धक कार्य करता है
- A. उत्प्रेरक की पृष्ठ उर्जा बढाकर
- C. उत्प्रेरक के सतह पहले से अधिक चिकनी बनाकर
- D. पृष्ठ संकुल के विश्लेषण की दर बढाकर
- B. उत्प्रेरक के सतह अधिक असम बनाकर
व्याख्या: एक वर्धक (promoter) उत्प्रेरक की सतह को संशोधित करता है, जिससे उसकी सक्रियता और बढ़ जाती है। यह सतह को अधिक असम या सक्रिय बनाकर ऐसा कर सकता है।
30. वर्धक कार्य करता है
- A. उत्प्रेरक की पृष्ठ उर्जा बढाकर
- C. उत्प्रेरक के सतह पहले से अधिक चिकनी बनाकर
- D. पृष्ठ संकुल के विश्लेषण की दर बढाकर
- B. उत्प्रेरक के सतह अधिक असम बनाकर
व्याख्या: एक वर्धक (promoter) उत्प्रेरक की सतह को संशोधित करता है, जिससे उसकी सक्रियता और बढ़ जाती है। यह सतह को अधिक असम या सक्रिय बनाकर ऐसा कर सकता है।