11. निम्न में से कौन सा पदार्थ ऑक्सीकारक और एवं अवकारक दोनों हैं ?
- C. KMnO₄
- B. KCIO₃
- D. HNO₃
- A. H₂O₂
व्याख्या: हाइड्रोजन पेरॉक्साइड (H₂O₂) में ऑक्सीजन की ऑक्सीकरण अवस्था -1 होती है, जो इसकी अधिकतम (+2 in OF₂) और न्यूनतम (-2 in H₂O) अवस्थाओं के बीच है। इसलिए, यह ऑक्सीकारक और अवकारक दोनों के रूप में कार्य कर सकता है।
12. OF₂ में ऑक्सीजन की ऑक्सीकरण अवस्था +1 है ?
- B. HCI
- D. HCIO₄
- C. ICI
- A. CL₂O
व्याख्या: डाइक्लोरीन मोनोऑक्साइड (Cl₂O) में ऑक्सीजन क्लोरीन से अधिक विद्युत्-ऋणात्मक है, इसलिए O पर -2 आवेश और प्रत्येक Cl पर +1 आवेश होता है। (नोट: प्रश्न OF₂ के बारे में पूछता है जिसमें O पर +2 अवस्था होती है, और उत्तर Cl₂O दिया गया है जिसमें Cl पर +1 अवस्था होती है।)
13. ऑक्जेलिक एसिड (H₂C₂O₄) में कार्बन की ऑक्सीकरण संख्या है -
व्याख्या: H₂C₂O₄ में, H पर +1 और O पर -2 आवेश होता है। यदि C की अवस्था x है, तो 2(+1) + 2x + 4(-2) = 0, जिससे 2 + 2x - 8 = 0, 2x = 6, और x = +3।
14. ऑक्सीकरण एक ऐसी अभिक्रिया है ,जिसमे
- C. विद्धुत धनात्मक समूह के अनुपात में वृद्धि होती है
- B. ऑक्सीजन का संयोग होता है
- D. उपरोक्त सभी
- A. इलेक्ट्रॉन का त्याग होता है
व्याख्या: ऑक्सीकरण को कई तरीकों से परिभाषित किया जा सकता है: इलेक्ट्रॉन का त्याग, ऑक्सीजन का जुड़ना, हाइड्रोजन का हटना, या ऑक्सीकरण संख्या में वृद्धि। ये सभी ऑक्सीकरण के लक्षण हैं।
15. अवकरण एक ऐसी अभिक्रिया है जिसमे
- B. ऑक्सीजन का संयोग होता है
- A. इलेक्ट्रॉन का त्याग होता है
- C. विद्धुत ऋणात्मक समूह के अनुपात में वृद्धि होती है
- D. इलेक्ट्रॉन ग्रहण होता है
व्याख्या: अवकरण (अपचयन) की मुख्य परिभाषा इलेक्ट्रॉन ग्रहण करना है। इसके अन्य लक्षण हैं: ऑक्सीजन का हटना या हाइड्रोजन का जुड़ना।
16. लोहे पर जंग लगना किसका उदाहरण है
- B. अवकरण
- D. जस्तीकरण
- A. ऑक्सीकरण
- C. बहूलीकरण
व्याख्या: जंग लगना एक ऑक्सीकरण-अपचयन अभिक्रिया है जिसमें लोहा (Fe) नमी और ऑक्सीजन की उपस्थिति में ऑक्सीकृत होकर आयरन ऑक्साइड (Fe₂O₃) बनाता है।
17. ऑक्सीकरण - अवकरण अभिक्रिया में
- C. परमाणु की पहली कक्षा के परमणु के भाग लेते है
- B. परमाणु के संयोजी इलेक्ट्रॉन भाग लेते है
- A. परमाणु के कोर इलेक्ट्रॉन भाग लेते है
- D. परमाणु के नाभिक भाग लेते है
व्याख्या: सभी रासायनिक अभिक्रियाओं की तरह, ऑक्सीकरण-अपचयन अभिक्रियाओं में भी परमाणुओं के सबसे बाहरी कोश के इलेक्ट्रॉन (संयोजी इलेक्ट्रॉन) का आदान-प्रदान या साझा होता है।
18. इलेक्ट्रॉन त्यागने के प्रवृति को कहते है
- C. उत्प्रेरण
- D. अभिप्रेरण
- A. ऑक्सीकरण
- B. अवकरण
व्याख्या: ऑक्सीकरण (Oxidation) वह प्रक्रिया है जिसमें एक परमाणु, अणु या आयन इलेक्ट्रॉन खोता है, जिससे उसकी ऑक्सीकरण संख्या बढ़ जाती है।
19. अभिक्रिया ZnO + C → Zn + CO में 'C' निम्नलिखित में से किस एक के रूप में कार्य करता है ?
- D. अपचाय्क
- C. उपचायक
- B. क्षार
- A. अम्ल
व्याख्या: इस अभिक्रिया में, कार्बन (C) जिंक ऑक्साइड (ZnO) से ऑक्सीजन को हटाकर उसे जिंक (Zn) में अपचयित कर रहा है। जो पदार्थ दूसरे को अपचयित करता है, वह स्वयं ऑक्सीकृत होता है और अपचायक (reducing agent) कहलाता है।
20. Fe⁺⁺ की Fe⁺⁺⁺ में रूपांतरण की प्रक्रिया है -
- C. आयनन
- D. नाभिकीय क्रिया
- B. अवकरण
- A. ऑक्सीकरण
व्याख्या: Fe²⁺ से Fe³⁺ में रूपांतरण के दौरान, ऑक्सीकरण संख्या +2 से +3 हो जाती है, जिसका अर्थ है कि एक इलेक्ट्रॉन का त्याग हुआ है। इलेक्ट्रॉन त्यागने की प्रक्रिया ऑक्सीकरण कहलाती है।