1. 'स्वप्नवासवदता' के लेखक हैं
- A.कालिदास
- B.भास
- C.भवभूति
- D.राजशेखर
व्याख्या: 'स्वप्नवासवदता' संस्कृत के प्रसिद्ध नाटककार भास द्वारा लिखा गया एक नाटक है। यह नाटक राजा उदयन और वासवदत्ता की प्रेम कथा पर आधारित है।
2. निम्नलिखित युग्मों में कौन एक सहीं सुमेलित नहीं है ?
- A.कर्पूरमंजरी–हर्ष
- B.मालविकाग्निमित्र–कालिदास
- C.मुद्राराक्षस-विशाखदत्त
- D.सौन्दरानन्द–अश्वघोष
व्याख्या: 'कर्पूरमंजरी' के लेखक राजशेखर हैं, न कि हर्ष। हर्ष ने 'रत्नावली', 'प्रियदर्शिका' और 'नागानन्द' जैसे नाटकों की रचना की थी।
3. काव्य शैली का प्राचीनतम नमूना किसके अभिलेख में मिलता है?
- A.रुद्रदमन के
- B.अशोक के
- C.राजेन्द्र के
- D.इनमें से कोई नहीं
व्याख्या: काव्य शैली का सबसे पुराना उदाहरण रुद्रदमन के गिरनार अभिलेख में मिलता है। यह अभिलेख संस्कृत भाषा में लिखा गया है और इसमें काव्य की विशेषताओं का प्रयोग किया गया है।
4. किस पुस्तक का 15 भारतीय और 40 विदेशी भाषाओं में अनुवाद किया जा चुका है?
- A.हितोपदेश
- B.अभिज्ञान शाकुन्तलम
- C.पंचतंत्र
- D.कथासरित सागर
व्याख्या: विष्णु शर्मा द्वारा रचित 'पंचतंत्र' एक प्रसिद्ध कथा संग्रह है जिसका दुनिया की कई भाषाओं में अनुवाद हो चुका है। इसकी कहानियाँ आज भी प्रासंगिक हैं और नैतिक शिक्षा देती हैं।
5. निम्नलिखित अंग्रेजों में से कौन था जिसने सर्वप्रथम 'भगवद्गीता' का अंग्रेजी में अनुवाद किया था?
- A.विलियम जोन्स
- B.चार्ल्स विल्किन्स
- C.एलेक्जेंडर कनिंघम्
- D.जान मार्शल
व्याख्या: चार्ल्स विल्किन्स ने 1785 में 'भगवद्गीता' का पहली बार अंग्रेजी में अनुवाद किया था। यह अनुवाद ईस्ट इंडिया कंपनी के गवर्नर-जनरल वॉरेन हेस्टिंग्स के संरक्षण में हुआ।
6. निम्नलिखित में से कौन सा एक प्राचीन भारत में व्यापारियों का निगम था ?
- A.चुतुर्वेदीमंगलम्
- B.परिषद्
- C.अष्टदिग्गज
- D.मणिग्राम
व्याख्या: 'मणिग्राम' प्राचीन दक्षिण भारत में व्यापारियों का एक शक्तिशाली संघ या निगम था। ये व्यापारी समुद्री व्यापार में भी सक्रिय थे।
7. पुरापाषाण काल में आदिमानव के मनोरंजन के साधन थे
- A.शिकार
- B.जुआ
- C.संगीत
- D.घुड़सवारी
व्याख्या: पुरापाषाण काल में आदिमानव का जीवन भोजन की तलाश के आसपास केंद्रित था। इसलिए, शिकार न केवल भोजन का स्रोत था बल्कि उनके मनोरंजन और जीवन का एक प्रमुख हिस्सा भी था।
8. प्राचीनकालीन भारत में हुई वैज्ञानिक प्रगति के संदर्भ में निम्नलिखित में से कौन-से कथन सही हैं ?1. प्रथम शती ईसवी में विभिन्न प्रकार के विशिष्ट शल्य औजारों का उपयोग आम था।2. तीसरी शती ईसवी के आरंभ में मानव शरीर के आंतरिक अंगों के प्रत्यारोपण शुरू हो चुका था।3. पाँचवीं शती ईसवी में कोण के ज्या (sine) का सिद्धान्त ज्ञात था।4. सातवीं शती ईसवी में चक्रीय चतुर्भुज (Cyclic Quardilaterals) का सिद्धान्त ज्ञात था ।
- A.केवल 1 और 2
- B.केवल 3 और 4
- C.केवल 1,3 और 4
- D.1,2,3 और 4
व्याख्या: प्राचीन भारत में शल्य चिकित्सा (सुश्रुत संहिता), त्रिकोणमिति (आर्यभट्ट द्वारा ज्या सिद्धांत) और ज्यामिति (ब्रह्मगुप्त द्वारा चक्रीय चतुर्भुज का सिद्धांत) में महत्वपूर्ण प्रगति हुई थी। हालांकि, अंग प्रत्यारोपण का कोई ठोस प्रमाण नहीं मिलता है।
9. नालंदा विश्वविद्यालय किसलिए विश्व प्रसिद्ध था?
- A.चिकित्सा विज्ञान
- B.तर्कशास्त्र
- C.बौद्धधर्म दर्शन
- D.रसायन विज्ञान
व्याख्या: नालंदा विश्वविद्यालय बौद्ध धर्म के अध्ययन, विशेषकर महायान बौद्ध धर्म के दर्शन के लिए एक प्रमुख वैश्विक केंद्र था। यहाँ दूर-दूर से विद्वान और छात्र अध्ययन के लिए आते थे।
10. प्राचीन भारत में निम्नलिखित में से कौन सी एक लिपि दायीं ओर से वायीं ओर लिखी जाती थी ?
- A.ब्राह्मी
- B.नंदनागरी
- C.शारदा
- D.खरोष्ठी
व्याख्या: खरोष्ठी लिपि प्राचीन भारत के पश्चिमोत्तर भाग में प्रचलित थी और इसे अरबी-फारसी की तरह दाईं ओर से बाईं ओर लिखा जाता था। ब्राह्मी लिपि बाईं से दाईं ओर लिखी जाती थी।