111. केरी भांत की ओढ़नी, लहर भांत की ओढ़नी, तारा भांत की ओढ़नी ,ज्वार भांत की ओढ़नी का प्रचलन है -
- A. विधवा महिलाओं में
- B. राजपुत महिलाओं में
- C. आदिवासियों में
- D. उपर्युक्त सभी में
व्याख्या: ये सभी विशेष पैटर्न वाली ओढ़नियाँ आदिवासी महिलाओं में बहुत प्रचलित और लोकप्रिय हैं।
112. ‘पोमचा’ (स्त्री परिधान) को बोलचाल की भाषा में कहा जाता है -
- A. पीला
- B. कंवर जोड़
- C. फेटिया
- D. कटकी
व्याख्या: पोमचा मुख्य रूप से पीले रंग का होता है, खासकर पुत्र जन्म पर पहने जाने वाला, इसलिए इसे आम बोलचाल में 'पीला' भी कहते हैं।
113. परम्परागत राजस्थानी पहचान की वेशभूषा है -
- A. कुरता
- B. पायजामा
- C. साफा
- D. रूमाल
व्याख्या: साफा (पगड़ी) राजस्थानी पुरुषों की पारंपरिक वेशभूषा का एक अभिन्न अंग है और उनकी पहचान व सम्मान का प्रतीक माना जाता है।
114. निम्न में से हाथ का आभूषण नहीं है ?
- A. बींठी
- B. कुड़क
- C. पांसौ
- D. भंवरकड़ी
व्याख्या: बींठी (अंगूठी), कुड़क और भंवरकड़ी हाथ/उंगली के आभूषण हैं, जबकि पांसौ हाथ का आभूषण नहीं है।
115. कान का आभूषण नहीं है-
- A. पीपलपत्रा
- B. सुरलिया
- C. अंगोट्या
- D. गोखरू
व्याख्या: गोखरू हाथ की कलाई पर पहना जाता है, जबकि पीपलपत्रा, सुरलिया और अंगोट्या कान के आभूषण हैं।
116. ‘गोखरू’ आभूषण मानव शरीर के किस अंग पर पहना जाता है -
- A. अंगुली
- B. नाक
- C. कलाई
- D. माथा
व्याख्या: गोखरू हाथ की कलाई पर पहना जाने वाला एक कड़ा जैसा आभूषण है।
117. चम्पाकली आभूषण शरीर के किस अंग पर पहना जाता है -
- A. मांथा
- B. कान
- C. गर्दन
- D. सिर
व्याख्या: चम्पाकली गर्दन में पहना जाने वाला एक लोकप्रिय हार है।
118. तुलसी नामक आभूषण महिलाओं द्वारा ______ में पहना जाता था।
व्याख्या: तुलसी, अक्सर मनकों से बना एक हार होता है जिसे महिलाएं गले में पहनती थीं।
119. पावली भांत की ओढ़नी कहलाती है-
- A. कटकी
- B. फटकी
- C. मदीली
- D. अदीली
व्याख्या: 'पावली भांत' (सिक्के जैसी छपाई) वाली ओढ़नी को 'कटकी' कहा जाता है, जो अविवाहित आदिवासी युवतियों द्वारा पहनी जाती है।
120. मुरकी आभूषण शरीर के किस भाग पर पहना जाता है -
- A. कान
- B. सिर
- C. गर्दन
- D. नाक
व्याख्या: मुरकी पुरुषों द्वारा कानों में पहनी जाने वाली बाली है।