81. ‘रणमल्ल छन्द’ के रचयिता हैं -
- A. नरपति नाल्ह
- B. श्रीधर व्यास
- C. पद्मनाभ
- D. सुन्दरदास
व्याख्या: ‘रणमल्ल छंद’ एक डिंगल काव्य है जिसके रचयिता श्रीधर व्यास हैं। इसमें ईडर के राजा रणमल की वीरता का वर्णन है।
82. राजस्थानी गद्य और पद्य की विधाओ में वे रचनाएँ जो किसी व्यक्ति एवं राजवंश की उपलब्धियों एवं घटनाओं पर प्रकाश डालती हैं, कहलाती हैं। (निम्न में से सबसे उपयुक्त विकल्प चुने:)
- A. प्रकास
- B. विगत
- C. वेली
- D. वचनिका
- E. राजप्रकास - किशोरदास आशिया
- F. महायश प्रकास- मानसिंह
- G. पाबू प्रकास - मोडा आशिया
- H. सूरज प्रकास- कविया करणीदान
- I. भीम प्रकास - रामदान लालसा
व्याख्या: साहित्य की 'प्रकास' विधा में किसी व्यक्ति या राजवंश की विशेष उपलब्धियों पर प्रकाश डाला जाता है, जैसे 'पाबू प्रकास' या 'सूरज प्रकास'।
83. राजस्थानी की एक प्रारंभिक रचना, रणमल छंद के रचनाकार थे -
- A. शिवदास
- B. हरिभद्र सूरि
- C. बादर
- D. श्रीधर व्यास
व्याख्या: ‘रणमल छंद’, जो एक प्रारंभिक राजस्थानी रचना मानी जाती है, के रचनाकार श्रीधर व्यास थे।
84. सही सुमेलित कीजिए और नीचे दिये गये कूट से उत्तर दीजिए -(रचनाकार)(साहित्य)अ. दलपतविजय1. हम्मीर रासोब. नरपति नाल्ह2. खुमाण रासोस. जोधराज3. विजयपाल रासोद. नल्लसिंह4. बीसलदेव रासोकूट - अ, ब, स, द
- A. 4, 3, 2, 1
- B. 2, 4, 1, 3
- C. 3, 1, 2, 4
- D. 1, 2, 3, 4
व्याख्या: सही मिलान है: दलपतविजय - खुमाण रासो, नरपति नाल्ह - बीसलदेव रासो, जोधराज - हम्मीर रासो, नल्लसिंह - विजयपाल रासो।
85. ‘रिन्द्रोही’ के लेखक कौन हैं -
- A. तेज सिंह जोधा
- B. अर्जुनदेव चारण
- C. मलचंद तिवारी
- D. मणि मधुकर
व्याख्या: ‘रिन्द्रोही’ राजस्थानी भाषा के प्रसिद्ध साहित्यकार और नाटककार अर्जुनदेव चारण की एक महत्वपूर्ण कृति है।
86. ‘रूख सतसई’ रा रचनाकार है -
- A. लक्ष्मणदान कविया
- B. रामस्वरूप किसान
- C. महावीर प्रसाद जोसी
- D. मुरलीधर व्यास
व्याख्या: ‘रूख सतसई’ के रचनाकार प्रसिद्ध राजस्थानी कवि लक्ष्मणदान कविया हैं। यह रचना पर्यावरण चेतना पर आधारित है।
87. कविराजा बांकीदास किस शासक द्वारा संरक्षित राजकवि थे -
- A. बीकानेर के सुजान सिंह
- B. जोधपुर के मानसिंह
- C. उदयपुर के भीमसिंह
- D. जयपुर के माधोसिंह
व्याख्या: कविराजा बांकीदास जोधपुर के महाराजा मानसिंह के राजकवि और काव्य गुरु थे। उन्होंने 'बांकीदास री ख्यात' की रचना की।
88. निम्नलिखित में से कौन सी कृति / रचना मणि मधुकर की नहीं है -
- A. पगफेरो
- B. सुधि सपनों के तीर
- C. रस गंधर्व
- D. जामारो
व्याख्या: 'जामारो' के लेखक यादवेन्द्र शर्मा 'चन्द्र' हैं। 'पगफेरो', 'सुधि सपनों के तीर' और 'रस गंधर्व' मणि मधुकर की प्रसिद्ध रचनाएँ हैं।
89. संतों का जीवन वृतांत जो कि राजस्थानी भाषा में काव्य रूप में उपलब्ध है, कहा जाता है:निम्नलिखित विकल्पों में से सर्वाधिक उपयुक्त उत्तर चुनें:
- A. मरास्या
- B. वात
- C. पारची
- D. प्रकास
व्याख्या: राजस्थानी साहित्य में संतों के जीवन चरित्र को 'परची' या 'परिचयी' कहा जाता है। यह उनके जीवन की घटनाओं और चमत्कारों का काव्यात्मक वर्णन होता है।
90. राजस्थानी भाषा(Rajasthani language) के विद्वान व राजस्थानी में रामायण के रचियता है -
- A. संत हनवंत किंकर
- B. गौरीशंकर हीराचंद ओझा
- C. सूजाजी
- D. शारंगधर
व्याख्या: संत हनवंत किंकर राजस्थानी भाषा के एक महान विद्वान थे, जिन्हें राजस्थानी में रामायण की रचना करने का श्रेय दिया जाता है।